Wednesday 25 April 2018

दिलरूबा

जब से तू आए मेरी जिन्दगी में
खुशियों ने करवटें बदल लिया

अब महकती शामें रातें गुलजार है
  गमों ने अपना रास्ता बदल लिया

नैनों ही नैनों से अब बातें हुआ करती
बिन बोले ही तूने हाले दिल जान लिया

ख्वाबों में जिसके सपने देखा करती
हकीकत में उसने हमसफर बना लिया

मैं रहूँ हमेशा तेरी ही दिलरूबा बनकर
तेरे प्रीत का मूरत दिल में सजा लिया

छिपा लू मैं तुझे दुनिया के नजरों से
तुझे अपने अंखियों में ही  बसा लिया






 

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